हवाना। कोलंबिया की सरकार और कोलंबिया में सक्रिय विद्रोही संगठन रिवोल्यूशनरी ऑर्म्ड फोर्सेस ऑफ कोलंबिया (एफएआरसी) के बीच पिछले पांच दशकों से जारी संघर्ष को खत्म करने के लिए संघर्ष विराम के समझौते पर हस्ताक्षर किए गए। क्यूबा के राष्ट्रपति राउल कास्त्रो की अध्यक्षता में आयोजित एक समारोह में दस्तखत किए गए। समाचार एजेंसी एफे न्यूज की रिपोर्ट के मुताबिक, संबंधित प्रतिनिधिमंडल के सदस्यों ने गुरुवार को इस पर हस्ताक्षर किए, जिसके बाद इस दस्तावेज को कास्त्रो ने कोलंबिया के राष्ट्रपति जुआन मैन्युअल सांतोस और एफएआरसी प्रमुख रोड्रिगो लोंडोनो के हवाले किया। इसके बाद दोनों नेताओं ने तालियों की गड़गड़ाहट के बीच हाथ मिलाया।
कोलंबिया और विद्रोहियों के बीच नबंवर 2012 से ही बातचीत जारी थी। क्यूबा की राजधानी में पढ़कर सुनाए गए एक संयुक्त बयान के मुताबिक इस द्विपक्षीय संघर्ष विराम के तहत एफएआरसी को अपने सभी हथियार 180 दिनों के अंदर वापस रखने होंगे। इन विद्रोहियों का विघटन तीन चरणों में होगा, जिसकी निगरानी संयुक्त राष्ट्र की देखरेख में अंतर्राष्ट्रीय दल करेगा।
इस बयान में कहा गया कि ‘एफएआरसी के सारे साजोसामान’ संयुक्त राष्ट्र के हवाले कर दिए जाएंगे, ताकि उससे सरकार और विद्रोहियों के बीच बनी सहमति के मुताबिक तीन स्मारकों का निर्माण किया जा सके। इसमें यह अनिवार्य किया गया है कि विद्रोहियों के नागरिक जीवन में वापस लौटने की तैयारी के लिए आठ शिविरों और 22 ‘अस्थायी सामान्यीकरण क्षेत्रों’ का निर्माण किया जाएगा।
सांतोस ने हवाना में कहा कि अंतिम शांति समझौते पर कोलंबिया में हस्ताक्षर किए जाएंगे। इस समारोह में सांतोस और लोंडोनो (जिन्हें ‘टिमोचेंको’ के नाम से ज्यादा जाना जाता है), कास्त्रो, और वेनेजुएला के राष्ट्रपति निकोलस मादुरो, चिली के मिशेल बैशेलेट, डोमिनिक रिपब्लिक के डानिलो मेडिना, अल्सल्वाडोर के सल्वाडोर सेंचेज कॉरेन और मैक्सिको के राष्ट्रपति एनरिक पेना नीटो भी शामिल होंगे।
सांतोस ने कहा, “न सिर्फ हमने संघर्ष को खत्म करने पर सहमति जताई है, बल्कि एफएआरसी द्वारा हमेशा के लिए हथियार डालने के लिए एक सटीक कार्यक्रम को परिभाषित किया है। इसका मतलब है कि एक सशस्त्र समूह के रूप में एफएआरसी खत्म हो जाएगा, न ही इससे ज्यादा और न ही इससे कम।”
टिमोचेंको ने कहा, “हम विरोधी थे, लेकिन अब हम कोलंबिया की भलाई के लिए सहयोगी हैं।”
संघर्ष विराम समझौते से पहले सरकार और एफएआरसी विद्रोहियों के बीच भूमि सुधार, राजनीतिक भागीदारी, ड्रग्स और नशीले पदार्थ की फसल से निपटने और संघर्ष के पीड़ितों के लिए राहत पर सहमति बनी। कोलंबिया की सरकार का कहना है कि अंतिम शांति समझौते पर जनमत संग्रह कराया जाना चाहिए।
(आईएएनएस)