लखनऊ| उत्तर प्रदेश में अगले वर्ष होने वाले विधानसभा चुनाव से पहले समाजवादी पार्टी (सपा) के प्रमुख मुलायम सिंह यादव अब महागठबंधन बनाने की कवायद में जुट गए हैं। उन्होंने रजत जयंती समारोह में नीतीश कुमार, एच.डी. देवगौड़ा, अजित सिंह व लालू प्रसाद यादव जैसे नेताओं को आमंत्रित किया है।सूत्रों के मुताबिक, प्रो. राम गोपाल यादव का पार्टी से निष्कासन के बाद अब शिवपाल ने एक बार फिर महागठबंधन बनाने का प्रयास शुरू कर दिया है।समाजवादी पार्टी के एक विधान परिषद सदस्य ने आईएएनएस को बताया, “शिवपाल यादव लोहियावादी, गांधीवादी और चरण सिंहवादी नेताओं से मुलाकात करेंगे। वह राष्ट्रीय जनता दल के अध्यक्ष लालू प्रसाद, रालोद अध्यक्ष चौ़ अजित सिंह और पूर्व प्रधानमंत्री देवेगौड़ा से भी मुलाकात करेंगे।
उन्होंने बताया कि वह इस मुलाकात के दौरान इन नेताओं को 5 नवंबर को लखनऊ में आयोजित सपा के रजत जयंती समारोह में शामिल होने का न्योता भी देंगे।सपा सूत्रों ने बताया कि दरअसल शिवपाल सिंह चाहते हैं कि विधानसभा चुनाव से पहले समाजवादी कुनबे में हुए घमासान से नुकसान की भरपाई हो जाए। इसके लिए उन्होंने मुलायम सिंह यादव को भी राजी कर लिया है। इसके बाद ही महागठबंधन बनाने की कवायद शुरू की गई है।
सूत्रों के मुताबिक, बिहार विधानसभा चुनाव से पहले सपा के नेतृत्व में महागठबंधन बन चुका था, लेकिन अचानक सपा इससे अलग हो गई। पार्टी के भीतर ऐसी चर्चा है कि प्रो़ राम गोपाल यादव की वजह से महागठबंधन नहीं हो पाया था। अब वह पार्टी में नहीं हैं। लिहाजा, शिवपाल नए सिरे से गठबंधन की तैयारियों में जुट गए हैं।इस संदर्भ में शिवपाल यादव ने कहा कि सांप्रदायिक शक्तियों से लड़ने के लिए लोहियावादी, गांधीवादी और चरण सिंहवादियों को एकजुट करने की जरूरत है। पार्टी मुखिया नेता जी मुलायम सिंह यादव की अनुमति लेकर ऐसे नेताओं से बातचीत के साथ संपर्क करना शुरू कर दिया गया है।उन्होंने कहा कि इन महापुरुषों के न रहने पर यह दायित्व उनमें आस्था रखने वालों का है। समाजवादी पार्टी सांप्रदायिक शक्तियों से निर्णायक लड़ाई के लिए पूर्णतया तैयार व सक्षम है। समाजवादियों की एकता ने जिस तरह बिहार में भाजपा-आरएसएस के मंसूबे ध्वस्त कर दिए, वही हाल 2017 के चुनावों में यूपी में भी होगा।
महागठबंधन बनाने की पहल को लेकर भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) नेताओं ने सवाल उठाया है। भाजपा के प्रदेश महासचिव विजय बहादुर पाठक ने आईएएनएस से बातचीत में कहा, “जो लोग उप्र में महागठबंधन बनाने की बात कर रहे हैं, वे पहले परिवार का गठबंधन तो ठीक कर लें। उनकी सच्चाई जनता जान चुकी है।पाठक ने कहा कि एक तरफ उप्र में डेंगू से लोग मर रहे हैं और हाइकोर्ट ने इस मामले को लेकर राष्ट्रपति शासन लागू करने की बात कह दी है। इनको जनता की सेवा करने के लिए जनादेश मिला था लेकिन ये लोग जनता की समास्याओं को छोड़ आपस में लड़ रहे हैं। अगले चुनाव में जनता इसका हिसाब जरूर लेगी।