मेरठ। भ्रष्ट अधिकारी के खिलाफ मेरठ मंडल के कमिश्नर डा. प्रभात कुमार नें गुरुवार को एक बार फिर बड़ी कार्रवाई करते हुए नगर निगम के पूर्व नगर आयुक्त, नगर निगम मेरठ, तत्कालीन कर निरीक्षक एवं लिपिक के विरूद्ध एफ0आई0आर0 दर्ज कराने के आदेश जारी किए गए हैं। आपको बता दें कि कमिश्नर द्वारा आयोजित किए जाने वाले मित्र दिवस पर गुरुवार को शिकायतकर्ता कु0 पल्लवी मोबार पुत्री श्री मोबार, नैनी, इलाहाबाद द्वारा प्रार्थना पत्र दिनांक 03 अगस्त 2017 में बताया गया, कि जनवरी 1994 मा0 उच्च न्यायालय के लैटर ऑफ एडमिनिस्ट्रेशन द्वारा वारिस घोषित किया गया था, जिसके आधार पर उनके द्वारा भवन सं0-65/1 स्थित जेलचुंगी, विक्टोरिया पार्क, बलवन्त नगर, मेरठ पर उनका नाम दर्ज कराये जाने का अनुरोध किया गया था।
नगर निगम मेरठ द्वारा प्रार्थिनी का नाम दर्ज कर दिया गया है। लेकिन दिनांक 16 फरवरी 2010 को नगर निगम द्वारा प्रार्थिनी को बगैर सूचित किए उसका नाम काटकर उर्मिला देवी का नाम दर्ज कर दिया गया था। इसका संज्ञान लेते हुए कमिश्नर डा. प्रभात कुमार ने अपर नगर आयुक्त को निर्देशित किया कि प्रश्नगत प्रकरण में नगर निगम में आगामी 11 सितंबर को सुनवाई के उपरान्त लिए गए निर्णय से अधोहस्ताक्षरी को अवगत कराया जाएंगे।
आयुक्त डा0 प्रभात कुमार ने निगम अभिलेखों से शिकायतकर्ता के नाम के स्थान पर अन्य व्यक्ति का नाम दर्ज करने हेतु उत्तरदाई हेतु तत्कालीन उपनगर आयुक्त, नगर निगम मेरठ पी0एन0 सिंह, तत्कालीन कर निरीक्षक वीरेन्द्र प्रताप एवं लिपिक नवीन रस्तौगी के विरूद्ध एफ0आई0आर0 दर्ज कराई जाए। कमिश्नर की इस कार्रवाई से हड़कप की स्थिती बनी हुई है। लेकिन आपको बता दें कि इस पूरे मामले में नगर निगम के अधिकारी कमीश्नर के आदेशों को ठेंगा दिखाते हुए पूरे मामले की लीपापोती करने में लगे हुए हैं, और मीडिया के सामने कुछ भी बोलने से बचते घूम रहे हैं।