समाजवादी परिवार में चली आ रही दरार को लेकर कई प्रकार की अटकलें लगाई जा रही थी। हाल ही में खबरें आ रही थी कि समाजवादी पार्टी के दो फाड हो गए हैं। चाचा भतीजे की जंग में मुलायम सिंह यादव के बीच धर्मसंकट की स्थिति उत्पन्न हो गई थी। इसलिए कहा जा रहा था कि शिवपाल सिंह यादव मुलायम सिंह यादव के साथ मिलकर अपनी एक अलग पार्टी का निर्माण करेंगे।
लेकिन सोमवार को इन सभी खबरों पर विराम लग गया। मुलायम सिंह यादव जब मीडिया के सामने आए तो उन्होंने कहा कि वह कोई नई पार्टी नहीं बनाने वाले हैं। उन्होंने कहा कि पह पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव के कुछ फैसलों से दुखी जरूर हैं लेकिन वह अपनी कोई अलग पार्टी नहीं बनाएंगे। मुलायम सिंह यादव ने कहा कि जिस पार्टी का गठन उन्होंने 1992 में किया था उस पार्टी के प्रदेश सम्मेलन में उन्हें बुलाया तक नहीं गया है। उन्होंने कहा कि वक्त आने पर वह इस राज से भी पर्दा उठाएंगे कि अखिलेश के किन फैसलों से वह दुखी हैं।
वही इस सब के बाद पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने ट्वीटर पर लिखा कि ‘नेताजी जिंदाबाद समाजवादी पार्टी जिंदाबाद’ लेकिन इस सब के बाद अब देखना यह होगा कि अपने भतीजे से नाराज चल रहे शिवपाल यादव अब क्या करते हैं और तो और बीजेपी में भी वह नहीं जा रहे हैं।
नेताजी ज़िंदाबाद समाजवादी पार्टी ज़िंदाबाद
— Akhilesh Yadav (@yadavakhilesh) September 25, 2017
मुलायम सिंह यादव ने यह भी बताया कि जनवरी के महीने में वह पार्टी अध्यक्ष से हटकर अखिलेश बन गए थे। लेकिन इस दौरान उन्होंने एक बार फिर से कह दिया कि जो बेटा अपने बाप का ही नहीं हुआ है वह और किसी का कैसे हो सकता है। इस बात की पीएम मोदी ने यूपी विधानसभा चुनाव के दौरान कहा था। वही दूसरी तरफ चाचा शिवपाल के समर्थक मान रहे हैं कि शिवपाल यादव काफी अच्छा काम कर रहे हैं और वह मुलायम सिंह यादव के साथ मिलकर अलग पार्टी बनाएंगे। लेकिन सोमवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस के बाद सब कुछ पलट गया।