भोपाल। अगले साल 2018 के अंत में मध्यप्रदेश में विधानसभा चुनाव होने है। इन चुनावों में लागतार चौथी बार जीत दर्ज करने के लिए शिवराज सरकार ने कमर कस ली है। इसी को देखते हुए प्रदेश के मुखिया शिवराज सिंह चौहान ने पार्टी के सभी विधायकों से चर्चा की। बता दें कि विधायकों से चर्चा का ये सिलसिला दो दिन तक चलेगा। आज हुई इस चर्चा में मुख्यमंत्री से चर्चा करने वालों में ग्वालियर-चंबल संभाग सहित अन्य जिलों के विधायक शामिल थे। मुख्यमंत्री के निवास पर बीजेपी के विधायकों और नेताओ का जमघट दिखाई दिया, जोकि अगले दो दिन तक यूं ही जारी रहेगी।
इन विधायकों को मुख्यमंत्री ने वन-टू-वन चर्चा के लिए बुलाया था। माना जा रहा है कि मुख्यमंत्री सरकारी योजनाओं के क्रियान्वयन की धीमी गति से खफा हैं और इसी पर चर्चा के लिए उन्होंने विधायकों को बुलाया था। मुख्यमंत्री से चर्चा करने वालों में वे विधायक भी शामिल थे, जिनका परफॉर्मेंस खराब है और उनके क्षेत्र में मुख्यमंत्री की पसंदीदा योजनाओं का क्रियान्वयन ठीक से नहीं हो पा रहा है। मुख्यमंत्री ने इन विधायकों को योजनाओं से लोगों को जोड़ने और उनके बीच जाने की नसीहत दी है।
सरकार के प्रवक्ता नरोत्तम मिश्रा ने इसे नियमित चर्चा बताया है, लेकिन विधायकों से जिस तरह मुख्यमंत्री ने चर्चा की, उसे देखकर लगता है कि सरकार अब इलेक्शन मोड में आ गई है। भाजपा संगठन से जुड़े सूत्रों के अनुसार मुख्यमंत्री ने विधायकों से उनके क्षेत्र के विकास का रोडमैप, बड़े निर्माण कार्य, प्रमुख योजनाओं का क्रियान्वयन, भावांतर योजना समेत किसानों से जुड़ी अन्य योजनाओं के संबंध में चर्चा की है।
मुख्यमंत्री ने उन क्षेत्रों के किसानों को लेकर चर्चा की जहां पर कम संख्या में भावांतर योजनाओं में पंजीयन कराई गई है। उन क्षेत्र के विधायकों से मुख्यमंत्री ने किसानों के बीच जाने को कहा है। जिन विधायकों की परफार्मेंस रिपोर्ट खराब है, उन्हें भी सुधार करने की नसीहत दी गई है। मुख्यमंत्री अभी दो दिन और विधायकों से चर्चा करेंगे। अलग-अलग संभाग के विधायकों को अलग-अलग दिन बुलाया गया है।