कोलकाता। कोयला खनन क्षेत्र की विशाल कंपनी कोल इंडिया लिमिटेड (सीआईएल) वित्त वर्ष 2016-17 में 7,765 करोड़ रुपये का पूंजीगत व्यय तथा 5,069 करोड़ रुपये अन्य परियोजनाओं ने निवेश करेगी। कंपनी की शुक्रवार को जारी की गई सालाना वार्षिक रिपोर्ट में यह जानकारी दी गई है। इसमें कहा गया है, “वित्त वर्ष 2016-17 के लिए 7,765 करोड़ रुपये का पूंजीगत व्यय निर्धारित किया गया है। इसके अलावा विदेशी गतिविधियों के लिए दो करोड़ रुपये का तदर्थ प्रावधान किया गया है।”
रिपोर्ट में कहा गया है, “आगे, कंपनी ने कई अन्य परियोजनाओं जैसे रेलवे अवसंरचना, सुपर क्रिटिकल थर्मल पॉवर प्लांट (एसटीपीपी), सोलर पॉवर, ऊर्वरक संयंत्रों के पुनरुद्धार, रेलवे वैगन की खरीद, कोल बेड मीथेन (सीबीएम) आदि में 5,069 करोड़ रुपये निवेश करने की योजना बनाई है।”
वित्त वर्ष 2016-17 के दौरान कोयला उत्पादन का लक्ष्य 598.61 एमटी रखा गया है, जो सालाना आधार पर 11.6 फीसदी अधिक है। वहीं, साल 2017-18 में 660.7 एमटी कोयला उत्पादन का अनुमान लगाया गया है, जो सालाना आधार पर 10.5 फीसदी अधिक है। कंपनी के अध्यक्ष सुतीर्थ भट्टाचार्य ने कहा, “कंपनी का जोर पूरी तरह से यांत्रिक खनन पर है। कंपनी लगातार यांत्रिक खनन के माध्यम से अपनी क्षमता बढ़ाने में जुटी है।”
उन्होंने यह भी कहा कि फिलहाल 94 से 96 फीसदी ओपेन कास्ट खनन यांत्रिक तरीके से किया जाता है। उत्पादन बढ़ाने के लिए कंपनी ओपेन कास्ट खनन पर ही निर्भर है, लेकिन इसके लिए बड़े पैमाने पर पेड़ों की कटाई करनी पड़ती है और लोगों को भी विस्थापित होना पड़ता है।